UP Politics: ‘पंकज चौधरी यूपी के नए कैप्टन, 2027 में दो-तिहाई बहुमत से जीतेंगे’, निर्वाचन समारोह में बोले सीएम योगी
लखनऊ: उत्तर प्रदेश की राजनीति में एक नए अध्याय की शुरुआत करते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भाजपा के नवनियुक्त प्रदेश अध्यक्ष पंकज चौधरी का जोरदार स्वागत किया। डॉ. राम मनोहर लोहिया विधि विश्वविद्यालय के सभागार में आयोजित ‘प्रदेश अध्यक्ष एवं राष्ट्रीय परिषद सदस्यों के निर्वाचन समारोह’ को संबोधित करते हुए सीएम योगी ने न केवल संगठन की शक्ति पर जोर दिया, बल्कि आगामी 2027 के विधानसभा चुनावों के लिए जीत का मंत्र भी दिया।
पंकज चौधरी भाजपा के नए ‘कैप्टन’, 2027 का लक्ष्य तय
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने नवनियुक्त अध्यक्ष पंकज चौधरी को उत्तर प्रदेश भाजपा का ‘नया कैप्टन’ बताते हुए कहा कि उनके नेतृत्व में पार्टी एक नई ऊर्जा के साथ आगे बढ़ेगी। सीएम ने विश्वास जताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन और पंकज चौधरी के सांगठनिक कौशल के दम पर भाजपा 2027 के विधानसभा चुनाव में दो-तिहाई से अधिक सीटों पर जीत दर्ज कर ‘विकसित उत्तर प्रदेश’ के संकल्प को सिद्ध करेगी।
इस अवसर पर उन्होंने निवर्तमान अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी के कार्यकाल की भी सराहना की। उन्होंने कहा कि बीते साढ़े तीन वर्षों में भूपेंद्र चौधरी ने संगठन के हर कार्यक्रम को नई गति दी और कार्यकर्ताओं को एकजुट रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
विपक्षी साजिश का पर्दाफाश: ‘फर्जी मतदाता सूची’ पर सीएम का प्रहार
अपने संबोधन के दौरान मुख्यमंत्री ने विपक्ष की चुनावी घेराबंदी पर गंभीर सवाल उठाए। उन्होंने एक जिले के दौरे का उदाहरण देते हुए बताया कि कैसे मतदाता सूचियों में धांधली की कोशिश की जा रही है।
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अजीबो-गरीब आंकड़े: सीएम ने बताया कि एक जिले में ऐसे फॉर्म भरे गए जहाँ उम्र का तर्क ही गायब था—पुत्र की आयु 20 वर्ष, पिता की 30 और दादा की 40 वर्ष दिखाई गई थी।
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बांग्लादेशी घुसपैठ का मुद्दा: उन्होंने कार्यकर्ताओं को सतर्क करते हुए कहा कि विरोधियों द्वारा तैयार की गई सूची में कुछ बांग्लादेशियों के नाम भी शामिल पाए गए हैं।
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कार्यकर्ताओं को निर्देश: सीएम ने ‘एसआईआर’ (SIR) प्रपत्रों को लेकर युद्ध स्तर पर काम करने को कहा। उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिए कि हर बूथ पर फर्जी नामों पर आपत्ति दर्ज कराई जाए। उन्होंने कहा, “अगर अभी तीन-चौथाई मेहनत मतदाता सूची को दुरुस्त करने में करेंगे, तो चुनाव के समय केवल एक-चौथाई मेहनत ही करनी पड़ेगी।”
साढ़े 8 साल की उपलब्धियां: बीमारू राज्य से रेवेन्यू सरप्लस तक
मुख्यमंत्री ने पिछले साढ़े आठ वर्षों में उत्तर प्रदेश में आए बड़े बदलावों का लेखा-जोखा भी प्रस्तुत किया। उन्होंने कहा कि यह परिवर्तन पीएम मोदी के विजन और कार्यकर्ताओं के पसीने का परिणाम है।
1. सुरक्षा और कानून का राज
यूपी की पहचान अब माफिया और दंगों से नहीं, बल्कि विकास और उत्सव से होती है। राज्य आज दंगा मुक्त और अपराध मुक्त होकर पर्यटन और निवेश के लिए देश का सबसे पसंदीदा गंतव्य बन गया है।
2. युवाओं को रिकॉर्ड रोजगार
सीएम ने डेटा साझा करते हुए बताया कि उनकी सरकार ने बिना किसी भेदभाव के पौने नौ लाख (8.75 लाख) युवाओं को सरकारी नौकरी प्रदान की है। इसके अतिरिक्त, डेढ़ करोड़ से अधिक युवाओं को पारंपरिक उद्यमों और एमएसएमई सेक्टर के माध्यम से स्वरोजगार से जोड़ा गया है।
3. निवेश और विकास
कानून व्यवस्था में सुधार का सीधा असर अर्थव्यवस्था पर पड़ा है। आज 15 लाख करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव धरातल पर उतर चुके हैं, जो राज्य की तस्वीर बदल रहे हैं। यूपी अब एक ‘बीमारू राज्य’ की श्रेणी से निकलकर ‘रेवेन्यू सरप्लस’ राज्य बन चुका है।
25 दिसंबर: राजधानी में जुटेगा महाकुंभ, पीएम मोदी करेंगे भव्य उद्घाटन
सीएम योगी ने कार्यकर्ताओं को एक बड़े कार्यक्रम के लिए आमंत्रित किया। 25 दिसंबर को पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की जन्म शताब्दी के अवसर पर लखनऊ में एक ऐतिहासिक कार्यक्रम होने जा रहा है।
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राष्ट्र प्रेरणा स्थल: लखनऊ में नवनिर्मित राष्ट्र प्रेरणा स्थल का उद्घाटन पीएम नरेंद्र मोदी करेंगे।
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विशाल प्रतिमाएं: यहाँ जनसंघ के संस्थापक डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी, पंडित दीनदयाल उपाध्याय और अटल बिहारी वाजपेयी की 65-65 फुट ऊंची भव्य कांस्य प्रतिमाएं स्थापित की गई हैं।
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संग्रहालय और रैली: यहाँ एक अत्याधुनिक संग्रहालय भी बनाया गया है। उद्घाटन के साथ ही लखनऊ में एक विशाल रैली का भी आयोजन होगा।
‘पहले काम, फिर रामलला के दर्शन’
मुख्यमंत्री ने कार्यकर्ताओं का उत्साह बढ़ाते हुए एक अनूठा प्रस्ताव रखा। उन्होंने कहा कि जो कार्यकर्ता अपने बूथ पर एसआईआर (SIR) का कार्य पूरी ईमानदारी से और समय पर पूरा करेंगे, उन्हें सरकार और संगठन की ओर से अयोध्या में रामलला के दर्शन और लखनऊ में राष्ट्र प्रेरणा स्थल का भ्रमण कराया जाएगा।
मुख्य निष्कर्ष:
योगी आदित्यनाथ का यह भाषण पूरी तरह से चुनावी मोड का संकेत था। जहाँ एक ओर उन्होंने सरकार की उपलब्धियां गिनाकर जनता का विश्वास जीतने की बात की, वहीं दूसरी ओर कार्यकर्ताओं को ‘बूथ प्रबंधन’ और ‘मतदाता सूची’ जैसी बारीकियों पर काम करने के लिए प्रेरित किया। पंकज चौधरी की नियुक्ति के साथ भाजपा अब यूपी में अपनी पकड़ को और मजबूत करने की दिशा में बढ़ चुकी है।