लैंड फॉर जॉब मामले में लालू परिवार को बड़ा झटका, राऊज एवेन्यू कोर्ट ने जारी किया समन
नई दिल्ली, 25 फरवरी 2025: जमीन के बदले नौकरी (लैंड फॉर जॉब) से जुड़े भ्रष्टाचार मामले में लालू प्रसाद यादव के परिवार को एक बड़ा झटका लगा है। राऊज एवेन्यू कोर्ट ने इस मामले में दाखिल की गई फाइनल चार्जशीट पर संज्ञान लेते हुए लालू यादव और उनके परिवार के अन्य सदस्यों समेत सभी आरोपियों को समन जारी किया है।
लैंड फॉर जॉब मामले में सीबीआई (केंद्रीय जांच ब्यूरो) ने आरोप लगाया था कि लालू यादव और उनके परिवार के सदस्यों ने रेलवे में नौकरी देने के बदले जमीन ली थी। इस भ्रष्टाचार मामले में सीबीआई ने पिछले साल 78 लोगों के खिलाफ फाइनल चार्जशीट दाखिल की थी, जिसमें पूर्व रेल मंत्री लालू यादव, उनकी बेटी हेमा यादव और बेटे तेजप्रताप यादव समेत कई अन्य आरोपी शामिल हैं।
समन जारी होने के बाद क्या हुआ?
राऊज एवेन्यू कोर्ट द्वारा समन जारी करने के बाद लालू यादव और उनके परिवार के सदस्य को अदालत में उपस्थित होने के लिए समन भेजा गया है। अदालत ने मामले की सुनवाई के लिए एक तारीख तय की है और सभी आरोपियों को तलब किया है। यह कदम सीबीआई की जांच और कोर्ट के आदेश के तहत उठाया गया है।
लालू प्रसाद यादव, जो कि बिहार के प्रमुख राजनीतिक नेता और राष्ट्रीय जनता दल (RJD) के अध्यक्ष हैं, ने अपनी राजनीतिक यात्रा में कई उतार-चढ़ाव देखे हैं, लेकिन इस मामले से उनका परिवार और उनके समर्थक चिंतित हैं। सीबीआई ने पहले इस मामले की जांच शुरू की थी और कई महीनों की जांच के बाद चार्जशीट दाखिल की थी, जिसमें इस गंभीर आरोप का उल्लेख किया गया है कि रेलवे में नौकरी देने के बदले जमीन ली गई थी।
मामला क्या है?
यह मामला वर्ष 2004 से 2009 के बीच का है, जब लालू प्रसाद यादव भारतीय रेल मंत्रालय के मंत्री थे। आरोप यह है कि उस समय उन्होंने अपने पद का दुरुपयोग करते हुए रेलवे में नियुक्तियों के बदले जमीन ली। इन नियुक्तियों में मुख्य रूप से उन लोगों को रेलवे में नौकरी दी गई थी, जिनके पास एक निश्चित मात्रा में भूमि थी। सीबीआई की जांच के अनुसार, इस तरह की कथित भूमि-नौकरी डील से लाखों रुपये का घोटाला हुआ है।
सीबीआई ने आरोप लगाया था कि लालू यादव और उनके परिवार के सदस्यों ने उन लोगों से ज़मीन ली, जिनको रेलवे में नौकरी दी गई थी। इसके बदले रेलवे की ओर से नियुक्तियों का वादा किया गया था।
लालू यादव और उनके परिवार का रुख
लालू यादव और उनके परिवार के सदस्य इन आरोपों को नकार रहे हैं। उन्होंने हमेशा इसे राजनीतिक साजिश और उनका नाम खराब करने की कोशिश बताया है। उनकी ओर से दावा किया जा रहा है कि ये सभी आरोप झूठे हैं और उनका कोई भी गलत काम नहीं हुआ है। उनका कहना है कि उनके खिलाफ जांच पूरी तरह से राजनीति से प्रेरित है और उन्हें फंसाने की कोशिश की जा रही है।
राजनीतिक प्रतिक्रियाएं
लालू यादव के परिवार के खिलाफ अदालत के फैसले पर राजनीतिक दलों की प्रतिक्रियाएं भी आनी शुरू हो गई हैं। विपक्षी दलों ने इसे सत्ता पक्ष द्वारा राजनीतिक बदला लेने का एक कदम बताया है, जबकि सत्ताधारी पार्टी ने इसे भ्रष्टाचार के खिलाफ सरकार की सख्ती के तौर पर देखा है।
बिहार में लालू यादव का प्रभाव और उनके राजनीतिक करियर की लंबी इतिहास को ध्यान में रखते हुए यह मामला न केवल न्यायिक दृष्टिकोण से, बल्कि राजनीतिक दृष्टिकोण से भी महत्वपूर्ण है। अब देखने वाली बात यह होगी कि कोर्ट में इस मामले की सुनवाई के दौरान क्या घटनाक्रम होता है और आरोपियों के खिलाफ क्या फैसले आते हैं।
निष्कर्ष
लैंड फॉर जॉब मामले में लालू यादव और उनके परिवार के खिलाफ राऊज एवेन्यू कोर्ट द्वारा जारी समन उनके लिए एक बड़ा झटका है। इस मामले की सुनवाई और इसके परिणामों से राजनीति में भी हलचल मचने की संभावना है। सीबीआई की जांच और कोर्ट की कार्रवाई से यह साफ होता है कि अब इस मामले में गंभीर कानूनी और न्यायिक प्रक्रिया शुरू हो चुकी है, जो आगे चलकर कई सवालों के जवाब दे सकती है।
