‘शिवांगी सिंह की जीत: पाक प्रोपेगैंडा पर करारा प्रहार, बनीं QFI’
नई दिल्ली, 11 अक्टूबर 2025: भारतीय वायुसेना की स्क्वाड्रन लीडर शिवांगी सिंह ने एक और इतिहास रच दिया है। ऑपरेशन सिंदूर के बाद उनकी पहली आधिकारिक तस्वीर जारी करते हुए वायुसेना ने घोषणा की कि वे क्वालिफाइड फ्लाइंग इंस्ट्रक्टर (QFI) बन चुकी हैं। पाकिस्तानी मीडिया के झूठे दावों—कि उन्हें सियालकोट के पास गिरफ्तार कर लिया गया—को यह उपलब्धि पूरी तरह बेनकाब कर देती है। तमिलनाडु के एयर फोर्स स्टेशन तांबरम में आयोजित समारोह में उन्हें प्रतिष्ठित बैज मिला। शिवांगी, जो भारत की पहली महिला रफाल पायलट हैं, अब युवा पायलटों को ट्रेनिंग देंगी। लेकिन क्या यह सफलता पाकिस्तान के डिजिटल युद्ध को झकझोर देगी? आइए, इस प्रेरणादायक कहानी की पूरी परतें जानते हैं।
QFI बैज की उपलब्धि: ऑपरेशन सिंदूर के बाद पहली तस्वीर
स्क्वाड्रन लीडर शिवांगी सिंह ने 159वें क्वालिफाइड फ्लाइंग इंस्ट्रक्टर कोर्स (QFIC) को सफलतापूर्वक पूरा कर लिया, जो छह महीने का कठिन प्रशिक्षण था। 9 अक्टूबर 2025 को एयर फोर्स स्टेशन तांबरम (तमिलनाडु) में हुई वेलेडिक्टरी सेरेमनी में एयर मार्शल तेजबीर सिंह ने मुख्य अतिथि के रूप में 59 अधिकारियों को QFI बैज प्रदान किया। इनमें वायुसेना, तीनों सेनाओं और मित्र देशों के पायलट शामिल थे। यह बैज उड़ान कौशल, शिक्षण क्षमता और पेशेवर उत्कृष्टता का प्रतीक है। शिवांगी की यह उपलब्धि वायुसेना के 93 वर्षों के इतिहास में महिलाओं के लिए मील का पत्थर है। सेरेमनी के दौरान जारी की गई उनकी पहली आधिकारिक तस्वीर ने न केवल उनकी सक्रिय सेवा की पुष्टि की, बल्कि युवा विमानन उत्साही महिलाओं को नई ऊर्जा दी।
पाक प्रोपेगैंडा का पर्दाफाश: झूठे दावों पर लगी मुहर
बीते महीनों से पाकिस्तानी मीडिया और सोशल मीडिया हैंडल्स ने ऑपरेशन सिंदूर को लेकर झूठा प्रचार चला रखा था। मई 2025 में हुई इस कार्रवाई में, जहां भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तान की हवाई उकसावे को करारा जवाब दिया, पाकिस्तान ने दावा किया कि शिवांगी का रफाल विमान सियालकोट के पास मार गिराया गया और उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। आईएसपीआर और प्रोपाकिस्तानी ट्रोल्स ने फर्जी तस्वीरें और वीडियो फैलाए, लेकिन वायुसेना की आधिकारिक घोषणा ने इन दावों को ध्वस्त कर दिया। QFI बैज मिलने की खबर और तस्वीर जारी होते ही पाकिस्तानी प्रचार की पोल खुल गई। विशेषज्ञों का कहना है कि यह डिजिटल युद्ध का हिस्सा था, जो पाकिस्तान की हार को छिपाने की कोशिश थी। शिवांगी की सक्रियता ने न केवल इन अफवाहों को बकवास साबित किया, बल्कि भारत की सैन्य क्षमता को वैश्विक पटल पर मजबूत किया।
प्रेरणा की मिसाल: रफाल से QFI तक का सफर
शिवांगी सिंह, वाराणसी की रहने वालीं, 2017 में वायुसेना में कमीशंड हुईं। बचपन में दिल्ली के एयर फोर्स म्यूजियम विजिट ने उनके उड़ान के सपनों को जन्म दिया। वे भारत की पहली महिला पायलट बनीं जिन्होंने फ्रेंच-ओरिजिन रफाल फाइटर जेट उड़ाया। अंबाला स्थित गोल्डन ऐरो स्क्वाड्रन की सदस्य रहीं, जहां उन्होंने मिग-21 से रफाल तक का सफर तय किया। ऑपरेशन सिंदूर में उनकी भूमिका निर्णायक रही, जहां उन्होंने शांत स्वभाव और सटीक उड़ान से पाकिस्तानी उकसावे को नाकाम किया। अब QFI के रूप में वे अगली पीढ़ी को ट्रेनिंग देंगी, जो महिलाओं को लड़ाकू भूमिकाओं में प्रोत्साहित करेगी। 2021 में आश्रिता वी ओलेटी के बाद यह दूसरी बड़ी उपलब्धि है। शिवांगी की कहानी न केवल वायुसेना का गौरव है, बल्कि देश की युवा बेटियों के लिए प्रेरणा स्रोत बनी हुई है।
