दिल्ली में ग्रीन दिवाली: SC की मंजूरी, लेकिन सख्त नियमों के साथ पटाखों का धमाल
नई दिल्ली, 16 अक्टूबर 2025: दिवाली की रौनक में इस बार पर्यावरण को भी साथ लिया जाएगा। सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली-एनसीआर में ग्रीन पटाखों की बिक्री और फोड़ने की छूट दी है, लेकिन सिर्फ परीक्षण के तौर पर। यह फैसला प्रदूषण पर लगाम लगाते हुए त्योहार की खुशियां बचाने की कोशिश है। कोर्ट ने समय, जगह और प्रकार पर सख्ती बरतने के निर्देश दिए हैं, ताकि AQI खराब न हो। लेकिन क्या ये नियम लागू होंगे, या फिर अवैध पटाखों का धंधा फलेगा? दिल्ली पुलिस और प्रदूषण नियंत्रक टीमें निगरानी करेंगे। आइए, जानते हैं कि इस दिवाली पटाखे फोड़ने से पहले क्या-क्या ध्यान रखना होगा।
कोर्ट की मंजूरी: ग्रीन पटाखों पर सीमित छूट, बाकी बैन कायम
सुप्रीम कोर्ट ने 15 अक्टूबर 2025 को आदेश दिया कि दिल्ली-एनसीआर में ग्रीन पटाखों की बिक्री 18 से 20 अक्टूबर तक होगी, और फोड़ने की अनुमति सिर्फ दिवाली के दो दिन (19-20 अक्टूबर) पर। ये पटाखे NEERI (नेशनल एनवायरनमेंटल इंजीनियरिंग रिसर्च इंस्टीट्यूट) और PESO (पेट्रोलियम एंड एक्सप्लोसिव्स सेफ्टी ऑर्गनाइजेशन) प्रमाणित होने चाहिए, जो 30% कम प्रदूषण फैलाते हैं। हर पैकेट पर QR कोड अनिवार्य है, ताकि नकली पटाखों पर नजर रखी जा सके। बिक्री सिर्फ लाइसेंस्ड दुकानों पर, और वो भी नामित जगहों पर। कोर्ट ने साफ कहा कि ये छूट ‘ट्रायल बेसिस’ पर है, और AQI मॉनिटरिंग के अधीन। CPCB और राज्य प्रदूषण बोर्ड 14 अक्टूबर से 25 अक्टूबर तक रोजाना रिपोर्ट देंगे। दिल्ली सरकार ने बैठकें कर कार्यान्वयन की योजना बनाई है, लेकिन विशेषज्ञ चेताते हैं कि पूर्ण बैन के बावजूद पिछले साल अवैध पटाखों ने प्रदूषण बढ़ाया था।
फोड़ने के नियम: समय और जगह पर सख्ती, उल्लंघन पर भारी सजा
पटाखे फोड़ने का समय सीमित है – सुबह 6 से 7 बजे और रात 8 से 10 बजे तक। सिर्फ खुले मैदानों या नामित जगहों पर ही अनुमति, जहां जिला प्रशासन ने ग्रीन जोन चिह्नित किए हैं। दिल्ली पुलिस, हरियाणा, यूपी और राजस्थान की संयुक्त टीमें गश्त करेंगी। अनधिकृत बिक्री या फोड़ने पर लाइसेंस रद्द, स्टॉक जब्त और जुर्माना होगा। ई-कॉमर्स साइट्स जैसे अमेजन-फ्लिपकार्ट पर बैन, और बाहर से पटाखे लाने पर भी रोक। पर्यावरण मंत्री मनजिंदर सिंह सिरसा ने कहा, “QR कोड वाले ग्रीन पटाखों पर ही छूट, बाकी जब्त।” कोर्ट ने PESO को दुकानों का औचक निरीक्षण करने को कहा। यह नियम न केवल प्रदूषण कम करेंगे, बल्कि स्वास्थ्य जोखिमों से भी बचाएंगे, खासकर बच्चों और बुजुर्गों के लिए। लेकिन प्रवर्तन चुनौतीपूर्ण होगा, क्योंकि दिवाली पर अवैध धंधा फलता-फूलता है।
बिक्री और निपटान: लाइसेंस, स्टॉक रिटर्न पर फोकस
करीब 140 PESO प्रमाणित दुकानों को अस्थायी लाइसेंस मिलेंगे। आवेदनों पर दो दिनों में फैसला, ताकि दिवाली से पहले स्टॉक पहुंचे। बिना बिके पटाखों को दिवाली के बाद दो दिनों में वापस या सुरक्षित नष्ट करने का आदेश। सड़क किनारे या बिना लाइसेंस बिक्री पर पूर्ण प्रतिबंध। कोर्ट ने निर्माताओं को QR कोड लगाने का हवाला दिया, वरना लाइसेंस सस्पेंड। दिल्ली पुलिस पैदल गश्त बढ़ाएगी, और आवासीय इलाकों में अतिरिक्त स्टाफ तैनात करेगी। सिरसा ने जनता से अपील की, “आपकी मदद चाहिए, ग्रीन पटाखों से ही दिवाली मनाएं।” यह व्यवस्था न केवल पर्यावरण बचाएगी, बल्कि स्थानीय व्यापारियों को भी फायदा पहुंचाएगी। लेकिन क्या ये नियम सख्ती से लागू होंगे? पिछले अनुभव बताते हैं कि जागरूकता और प्रवर्तन ही कुंजी है।
