• December 29, 2025

उदयनिधि स्टालिन ने हिंदी भाषा पर की टिप्पणी

 उदयनिधि स्टालिन ने हिंदी भाषा पर की टिप्पणी

सनातन पर अपने बेतुके बोल के लिए विवादों में घिरे DMK नेता उदयनिधि स्टालिन ने सनातन धर्म के बाद अब हिंदी भाषा पर विवादित टिप्पणी की है। हिंदी दिवस के अवसर पर पीएम सीएम साहित्य अन्य मंत्रियों के साथ गृह मंत्री अमित शाह ने भी हिंदी दिवस की बधाई और शुभकामनाएँ दी थी । वही तमिलनाडु के मंत्री उदयनिधि स्टालिन ने अब अमित शाह के ट्वीट पर अपना एक बयान जारी किया है।

दरअसल 14 सितंबर को हिंदी दिवस के मौके पर गृह मंत्री अमित शाह ने पोस्ट करते हुए लिखा कि हिंदी भारत में भाषाओं की विविधता को एकजुट करती है। बोले, स्वतंत्रता आंदोलन से लेकर आज तक हिंदी ने देश को एकजुट करने में मुख्य भूमिका निभाई है। गृह मंत्री ने ये भी कहा कि हिंदी ने कभी भी किसी अन्य भारतीय भाषा से प्रतिद्वंद्विता नहीं की है, ना ही करेगी और एक मजबूत देश अपनी सभी भाषाओं को अटल करने से ही उभरेगा।

इस ट्वीट पर उदयनिधि ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर तमिल में एक पोस्ट करके अमित शाह के इस संदेश की निंदा की है और हिंदी थोपने का आरोप लगते हुए लिखा की -हिंदी देश के लोगों को एकजुट करती है और क्षेत्रीय भाषाओं को सशक्त बनाती है, केंद्रीय मंत्री अमित शाह का यह बयान उनके हिंदी प्रेम को दर्शाता है। उनकी यह चर्चा उसी तरह का है जैसे हम चिल्लाकर यह कहते हैं कि अगर आप हिंदी पढ़ेंगे, तो आप विकास कर सकते हैं। उन्होंने आगे लिखा की तमिलनाडु में तमिल और केरल में मलयालम भाषा बोली जाती है तो क्या हिंदी इन दोनों राज्यों को एकजुट करती है ? चार-पांच राज्यों में बोली जाने वाली हिंदी भाषा पूरे देश को जोड़ती है, यह बयान अमित शाह का बेढंगा है। उन्हें हिंदी को छोड़कर देश की अन्य क्षेत्रीय भाषाओं का अपमान बंद करना चाहिए। इसके अलावा उदयनिधि स्टालिन ने अपने पोस्ट के अंत में लिखा है कि – हिंदी थोपना बंद करें।

आपको बता दें की द्रमुक ने अपने स्थापना काल से ही हिंदी का ऐतराज किया है। तमिलनाडु में हिंदी विरोधी आंदोलन हुआ था। द्रमुक ने शुरुआत से ही हिंदी भाषा का विरोध करते हए हमेशा कहा है कि उनपर हिंदी भाषा को थोपा ना जाए। करुणानिधि ने भी हिंदी का विरोध किया था और अब उनके पोते उदयनिधि स्टालिन भी वही करते हुए नज़र आ रहे हैं।

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